भारत में अब तक का सबसे बड़ा बैंक घोटाला : ABG शिपयार्ड ने 28 बैंकों को 22,842 करोड़ का चूना लगाया

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द लीडर | बैंक किसी भी देश की अर्थव्यवस्था का अहम हिस्सा होता है. बैंक एक ऐसी जगह है जहां आम लोग अपनी छोटी-बड़ी बचत करते हैं और भविष्य के हिसाब से योजनाएं बनाते हैं. देश में आए दिन बैंक घोटालों के मामले सामने आते रहते हैं, ऐसे में सोचिए कि आपने अपनी कमाई से पैसा बचा कर बैंक में जमा किया हो और अचानक एक दिन पता चले की आपका पैसा डूब गया. ऐसी स्थिति बैंकिंग व्यवस्था के चरमराने की वजह से होती है.

देश में बैंक धोखाधड़ी का एक और सबसे बड़ा मामला सामने आया है. सीबीआई ने एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड (ABG Shipyard) और उसके तत्कालीन अध्यक्ष व मैनेजिंग डायरेक्टर ऋषि कमलेश अग्रवाल सहित अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है. यह मुकदमा भारतीय स्टेट बैंक (SBI) की अगुवाई वाले बैंकों के एक संघ से कथित रूप से 22,842 करोड़ रुपये से अधिक की धोखाधड़ी के संबंध में दर्ज किया गया है.

किस बैंक की कितनी रकम बकाया?

एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड पर 28 बैंकों से करीब 23 हजार करोड़ रुपये की धोखाधड़ी करने का आरोप है. इसमें 7 हजार 89 करोड़ रुपये ICICI बैंक, 3 हजार 634 करोड़ IDBI, 2 हजार 925 करोड़ SBI, 1 हजार 614 करोड़ बैंक ऑफ बड़ौदा, 1 हजार 244 करोड़ PNB और 1 हजार 228 करोड़ इंडियन ओवरसीज के बकाया हैं. यानी, इन 6 बैंकों के ही 17 हजार 734 करोड़ रुपये बकाया है. इनके अलावा 22 और बैंकों के 5 हजार 108 करोड़ रुपये बकाया है.


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पैसों से विदेशों में खरीदी गई प्रॉपर्टी

CBI की FIR के मुताबिक फ्रॉड करने वाली दो प्रमुख कंपनियों के नाम ABG शिपयार्ड और ABG इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड हैं. दोनों कंपनियां एक ही ग्रुप की हैं. आरोप है कि बैंकों से फ्रॉड किए गए पैसे को विदेशों में भी भेजा गया और काफी प्रॉपर्टी खरीदी गईं. तमाम नियम कानूनों को ताक पर रखकर पैसा एक कंपनी से दूसरी कंपनी में भेजा गया.

जानिए इस कंपनी के बारे में

ABG शिपयार्ड भारत में सबसे बड़ी निजी जहाज निर्माण कंपनियों में से एक है जिसमें 20 टन वजन तक के जहाजों का निर्माण करने की क्षमता है. एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड विविध व्यावसायिक हितों वाली कंपनियों के एबीजी समूह का एक हिस्सा है. 1985 में स्थापित, इसका मुख्यालय मुंबई में है. गुजरात में सूरत और दहेज में इसका जहाज निर्माण कार्य है. अक्टूबर 2010 में वेस्टर्न इंडिया शिपयार्ड लिमिटेड के अधिग्रहण के बाद, यह गोवा में एक जहाज मरम्मत इकाई संचालित करता है जो भारत में सबसे बड़ी जहाज रखरखाव सुविधा है.

मोदी मॉडल- लूटो और भगाओ: कांग्रेस

कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट करते हुए लिखा कि मोदी मॉडल- लूटो और भगाओ! तीन तथ्य देश के सामने हैं. मोदी सरकार के 7 साल में ₹5,35,0000 करोड़ के बैंक फ्रॉड हुए. ₹8,17,000 करोड़ देश की जनता के बैंकों ने बट्टे खाते में डुबाये. ₹21,00,000 करोड़ बैंकों के NPA में इजाफा हुआ. लूटो भगाओ बैंक लूटवाओ.

विजय माल्या का 9000 करोड़ रुपये का घोटाला

शराब कारोबारी और बैंकों से कर्ज लेकर फरार विजय माल्या के खिलाफ 9000 करोड़ रुपये के फ्रॉड और मनी लॉन्ड्रिंग का मामला चल रहा है. सुप्रीम कोर्ट की ओर से बार-बार समन किए जाने के बावजूद माल्या अब तक पेश नहीं हुए. कुछ दिनों पहले ही सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें आखिरी बार कार्ट में पेश होने के लिए दो हफ्ते का समय दिया है. हालांकि, बैंकों ने अब तक अपना काफी रकम रिकवर कर लिया है. एक खबर के मुताबिक कर्ज देने वाले बैंकों ने अब तक अपना 81 फीसदी पैसा रिकवर कर लिया है. इसका मतलब है कि अब केवल 19 फीसदी रकम की वसूली बाकी है.


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पंजाब नेशनल बैंक घोटाला

नीरव मोदी का पंजाब नेशनल बैंक घोटाला आप सबको याद ही होगा. नीरव मोदी और उसके मामा मेहुल चोकसी पर 13500 करोड़ रुपये से ज्‍यादा की धोखाधड़ी का आरोप है. यह फ्रॉड इन्‍होंने पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में किया और फरार हो गए. इस घोटाले में नीरव मोदी के अलावा उनकी पत्नी ऐमी, भाई निशाल, और चाचा मेहुल चोकसी मुख्य अभियुक्त हैं. यह उस समय भारत का सबसे बड़ा बैंकिंग घोटाला था.

वीडियोकॉन घोटाला

मनी लॉन्ड्रिंग का यह मामला जनवरी 2019 में दर्ज हुआ था. इसमें आरोप था कि ICICI बैंक और वीडियोकॉन ग्रुप के बीच जो डील हुई है उसमें मनी लॉन्ड्रिंग की गई है. ICICI बैंक और वीडियोकॉन के शेयर होल्डर अरविंद गुप्ता ने प्रधानमंत्री, रिजर्व बैंक और सेबी को एक खत लिखकर वीडियोकॉन के अध्यक्ष वेणुगोपाल धूत और ICICI की सीईओ व एमडी चंदा कोचर पर एक-दूसरे को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया था. इसमें दावा है कि धूत की कंपनी वीडियोकॉन को आईसीआईसीआई बैंक से 3250 करोड़ रुपये करोड़ रुपये का लोन दिया गया और इसके बदले धूत ने चंदा कोचर के पति दीपक कोचर की वैकल्पिक ऊर्जा कंपनी ‘न्यूपॉवर’ में अपना पैसा निवेश किया.

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