द लीडर : अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (AMU) के संस्थापक सर सय्यद अहमद खान की आज पुण्य तिथि है. 27 मार्च 1898 को उनका इंतकाल (मृत्यु) हुआ था. स्वतंत्रता सेनानी के साथ वह एक बड़े समाज सुधारक के रूप में जाने जाते हैं. उनकी पुण्यतिथि पर शैक्षिक, सामाजिक और राजनीतिक हस्तियों ने उन्हें याद किया है. इसी कड़ी में समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी उन्हें याद किया. (Akhilesh Yadav Aligarh Muslim University)
अखिलेश यादव ने अपने ट्वीट में लिखा, ”महान शिक्षाविद, आधुनिक भारत के प्रणेता, अलीगढ़ विश्वविद्यालय के संस्थापक, स्वतंत्रता सेनानी, सर सैयद अहमद खान की पुण्यतिथि पर शत-शत नमन.”
महान शिक्षाविद्, आधुनिक भारत के प्रणेता, अलीगढ़ विश्वविद्यालय के संस्थापक, स्वतंत्रता सेनानी , सर सैयद अहमद खान की पुण्यतिथि पर शत-शत नमन। pic.twitter.com/vk7NmuZL2z
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 27, 2021
इसी ट्वीट को लेकर अखिलेश यादव सोशल मीडिया पर ट्रोल हो रहे हैं. उनके समर्थक और नापंसद करने वाले पूछ रहे हैं कि ‘भैयाजी, अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय है न कि अलीगढ़ विश्वविद्यालय.”
पीस पार्टी के प्रवक्ता शादाब चौहान ने अखिलेश के ट्वीट का स्क्रीनशॉट साझा करते हुए लिखा है कि, ”समाजवादी पार्टी के मेरे साथियों और अखिलेश यादव को सेकुलर समझने वाले साथियों देख लो किस तरीके से मुस्लिम शब्द से नफरत हो चुकी है.”
खबरदार अगर किसी ने @yadavakhilesh जी को कट्टरवादी कहा और सेक्यूलर मानने से इनकार किया क्योंकि यही तो है सेकुलरिज्म मुस्लिम शब्द से नफरत करना एवं उनको उनके अधिकार से वंचित करना लेकिन खुशी की बात यह कि मुसलमान इन जालिमों के चेहरे से हटते #नकाब को अपनी आंखों से देख रहा है @AshrafFem pic.twitter.com/ohgtSiC26S
— Er shadab chouhan شاداب چوھان (@shadab_chouhan1) March 27, 2021
एके नामक ट्वीटर हैंडल ने अखिलेश के इस ट्वीट को रि-ट्वीट करते तंज कसा. अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय, मुस्लिम शब्द से इतनी नफरत क्यों.
अलीगढ़ मुस्लिम विश्विद्धालय
लफ़जे मुस्लिम से इतना परहेज़ क्यों?
@yadavakhilesh @dimpleyadav @samajwadiparty को https://t.co/amkpATUxVb
— A K (@iamataullah) March 27, 2021
अरबाब हिंदुस्तानी ने अखिलेश के ट्वीट के जवाब मेें लिखा है. अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय पूरा नाम लिखा जाना चाहिए. यह हम सब की पहचान है. उसको मत मिटाएं. कभी-कभी गलती को नजरअंदाज नहीं किया जाता, वह जो मुसलमानों को हमेशा से नजरअंदाज करते आ रहा है, वोट पे चोट!
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय पूरा नाम लिखा जाना चाहिए यह हम सब की पहचान है उसको मत मिटाएं कभी-कभी गलती को नजरअंदाज नहीं किया जाता वह जो मुसलमानों को हमेशा से नजरअंदाज करते आ रहा है,वोट पे चोट!🙏@kamalkhan_NDTV@ajitanjum @asadowaisi @syedasimwaqar @brajeshlive @aimim_national https://t.co/1ji9igpGuJ
— Arbab Hindustani 🇮🇳 🌍 (@dil_jaan92) March 27, 2021