द लीडर : उत्तर प्रदेश विधानसभा (UP Assembly Polls 2022) चुनाव से पहले सत्ताधारी भाजपा पर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) आक्रामक हमले कर रही हैं. सपा मुखिया और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (Former CM Akhilesh Yadav) ने एक गंभीर आरोप लगाया. अखिलेश यादव ने कहा-, ‘देश में दो समानांतर (एक जैसी) सरकारें चल रही हैं. एक सरकार, भाजपा (BJP) चला रही है. दूसरी समानांतर सरकार आरएसएस (RSS) चला रहा है, जो अपना एजेंडा लागू कराता है. भाजपा सत्ता का दुरुपयोग करती है. संघ समाज में बंटवारा पैदा करता. इन दो पाटों के बीच जनता-विपक्ष पिस रहा है.’ (RSS BJP Akhilesh Yadav )
इसे भी पढ़ें –UP Politics : ‘जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव भाजपा नहीं डीएम और एसएसपी लड़ रहे’-अखिलेश यादव
अखिलेश यादव ने संवैधानिक संस्थाओं पर भी प्रहार किया है. उनका आरोप है कि, ”जिन पर कानून व्यवस्था संभालने की जिम्मेवारी है. वे लगातार कानून का मजाक बना रहे हैं. इंसाफ देने की बात छोड़िए, उल्टा अत्याचार कर रहे हैं. सत्ता के संरक्षण में पले अपराधियों ने पूरे राज्य में अपना आतंक मचा रखा है. दलित-वंचित और समाज के कमजोर वर्गों पर भाजपा राज में अत्याचार बढ़ गए हैं. वो इसलिए क्योंकि हकीकत में भाजपा पूंजीपति घराने (अमीरों) और शोषक तत्वों की समर्थक पार्टी है. ”
इसे भी पढ़ें –उन्नाव की ये तस्वीर न सिर्फ दम तोड़ चुकी पत्रकारिता का नमूना है, बल्कि भविष्य भी!
जिला पंचायत और ब्लॉक प्रमुख चुनावों का हवाला देते हुए अखिलेश यादव ने आरोप लगाया-,’भाजपा ने सत्ता का जैसा दुरुपयोग किया है. वो शर्मनाक है. लोकतंत्र की बेरहमी से हत्या की गई. चुनाव में समाजवादी पार्टी के उम्मीदवारों को नामांकन कराने से जबरन रोका गया. मतदान में हिंसा हुई. प्रत्याशी, समर्थक और वोटरों का अपहरण हुआ. उन्हें बंधक बनाया गया. ये घटनाएं सार्वजनिक हैं, जो निंदनीय हैं.’ (RSS BJP Akhilesh Yadav )
अखिलेश यादव ने दावा किया कि ”त्रिस्तरीय पंचाायत चुनावों के बाद भी समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता और समर्थकों पर जुल्म जारी है. कई जिलों में सपा नेताओं पर फर्जी मुकदमे लिखे गए हैं. अज्ञात में अब उन्हें नामजद किया जा रहा है. दूसरे तरीकों से भी उत्पीड़न हो रहा है. घरों में दबिश देकर परिवारों को डराया जा रहा. उनके साथ अभद्रता की जाती है. पुलिस की पिटाई से तमाम कार्यकर्ता घायल हुए हैं.”
उन्होंने चेतावनी के लहजे में कहा है कि’ ”भाजपा के इन अत्याचारों के सामने समाजवादी पार्टी झुकने वाली नहीं है. लोकतंत्र को बचाने की खातिर समाजवादी संघर्ष जारी रहेगा. भाजपा, विपक्ष को कुचलने और जनता की आवाज को दबाने में जुटी है. और राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ भाजपा के इस दुष्प्रचार को हवा देने में सक्रिय है.”
इसे भी पढ़ें – लखनऊ : ATS के आतंकी नेटवर्क पकड़ने की कार्रवाई पर क्यों शक, इन IPS और पूर्व मुख्यमंत्रियों ने उठाए सवाल
अखिलेश यादव बोले-”अगला 2022 का विधानसभा चुनाव लोकतंत्र को बचाने का होगा. भाजपा लोकतंत्र संग छल-प्रपंच करने पर तुली है. सपा पूरी ताकत के साथ 2022 के चुनाव में चुनौती देकर विजय होगी. उन्होंने कहा कि जनता भी समाजवादी पार्टी की सरकार चाहती है. भाजपा चाहें जितनी भी कलाबाजियां खा ले, लेकिन आमजन भाजपा की हकीकत से वाकिफ है.” (RSS BJP Akhilesh Yadav )
ब्लॉक प्रमुख-पंचायत अध्यक्ष चुनाव से बढ़ी तकरार
हाल ही में संपन्न ब्लॉक प्रमुख और जिला पंचायत अध्यक्ष चुनावों के दरम्यान से समाजवादी पार्टी और भाजपा के बीच तकरार बढ़ी है. और नेताओं के बयानों में तल्खी महसूस की जा रही है. खासतौर से सपा के. सपा मुखिया अखिलेश यादव भाजपा पर चुनावों में धांधली का आरोप लगाते रहे हैं.
राज्य में जिला पंचायत अध्यक्ष की 75 सीटें हैं, जिनमें करीब 65 पर भाजपा अपने अध्यक्ष निर्वाचित कराने में सफल रही है. इसी तरह ब्लॉक प्रमुख के 826 पद हैं. 825 पर चुनाव हुआ. इसमें भाजपा समर्थक करीब 635 प्रत्याशी ब्लॉक प्रमुख बने हैं. (RSS BJP Akhilesh Yadav )
पुलिस-प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाती रही है. अखिलेश यादव तो यहां तक बोल चुके हैं कि-,”ये चुनाव भाजपा नहीं बल्कि डीएम और एसएसपी लड़ रहे हैं.” इसको लेकर राज्य निर्वाचन आयोग में दो-तीन बार शिकायतें भी की गईं. लेकिन चुनावों में जिस तरीके से हिंसा और उस पर नियंत्रण में पुलिस की भूमिका सामने आई है.
उससे सपा में आक्रोश और बढ़ा है. सपा के वरिष्ठ नेता और सांसद प्रोफेसर राम गोपाल यादव स्पष्ट शब्दों में ब्यूरोक्रेसी को ये संदेश दे चुके हैं,-”सपा सरकार बनने पर ऐसे अफसरों को बख्शा नहीं जाएगा, जो सत्ता के इशारे पर सपा नेताओं पर जुल्म ढा रहे हैं.” (RSS BJP Akhilesh Yadav )
इसे भी पढ़ें – क्या पांच-दस साल में मुसलमानों की तादाद हिंदुओं से ज्यादा हो जाएगी?
खास बात ये है कि समाजवादी पार्टी के गंभीर आरोपों पर भी भाजपा की ओर कोई फौरी प्रतिक्रिया दिखाई नहीं पड़ रही है. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह हों या फिरर सीएम योगी आदित्यनाथ, उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य.
अपनी सभाओं में पार्टी की जन कल्याणकारी योजनाओं का खूब प्रचार करते नजर आते हैं. हाल ही में स्वतंत्रदेव सिंह ने सपा के दो बयानों पर टिप्पणी की है. एक जिला पंचायत चुनाव के दरम्यान. दूसरी टिप्पणी अखिलेश यादव के पुलिस-भाजपा सरकार पर भरोसा न करने वाले बयान पर आई थी.