आज़म ख़ान की वायरल तस्वीरें देख दहल गए मुसलमान, दुआओं की इल्तिजा-रिहाई की आवाज

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MP Azam khan Amu
रामपुर एमपी आजम खान. पहली तस्वीर, जब वह जेल से बाहर थे. दूसरी तस्वीर में वह अस्पताल में भर्ती हैं.

द लीडर : रामपुर से सांसद आज़म खान, उत्तर प्रदेश की 19 प्रतिशत मुस्लिम आबादी के सबसे कद्​दावर नेता हैं. बीती मई से बीमार हैं. जेल से दोबारा मेदांता शिफ्ट किए गए हैं. जहां उनकी हालत अब स्थिर है. लेकिन अस्पताल से उनकी कुछ तस्वीरें सामने आई हैं. जो वायरल हो चुकी हैं. तस्वीरों में आजम खान की हालत देखकर मुस्लिम समाज दहल गया है. उनकी सेहतयाबी के साथ ट्वीटर पर रिहाई की मांग ट्रेंड करने लगी है. (MP Azam khan Amu )

आजम खान 9 बार विधायक हैं. वर्तमान में सांसद है. पिछले एक साल से ज्यादा समय से जेल में हैं. इल्जाम है कि मुहम्मद अली जौहर यूनिवर्सिटी की जमीन के बंदोबस्त में गड़बड़ी की है. उन पर करीब 85 मामले दर्ज हैं. कुछ में जमानत भी मिल चुकी है. अब्दुल्ला आजम, उनके बेटे हैं-वो भी जेल में हैं.

मई में आजम खान और अब्दुल्ला आजम संक्रमित हो गए थे. इलाज के लिए लखनऊ के मेदांता लाए गए. जहां करीब दो महीने तक भर्ती रहे. पिछले सप्ताह ही शासन ने उन्हें दोबारा अस्पताल से सीतापुर जेल में शिफ्ट किया था.


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प्रशासन ने डॉक्टरों के हवाले से ये तर्क दिया कि आजम खान की हालत अब ठीक है. इसलिए जेल ले जाने का फैसला किया गया.

परिवार ने विरोध भी किया. कहा-उनकी हालत ठीक नहीं है. इसलिए जेल ले जाने का फैसला उचित नहीं है. लेकिन इसका कोई असर नहीं पड़ा.

आरोप है कि आजम खान जेल जाते ही फिर बीमार हो गए. गनीमत रही कि डॉक्टरों ने उनकी हालत देखकर फौरन रेफर करने की जरूरत जताई. तब उन्हें सोमवार को मेदांता लाया गया है.

आजम खान काफी कमजोर हो गए हैं. तस्वीरों से पहली नजर में पहचान पाना मुश्किल है. उनकी बीवी डॉ. तजीन फातिमा कह चुकी हैं कि उनके मुंह में अल्सर है. 72 साल के हैं. (MP Azam khan Amu )

उम्र के लिहाज से कई और बीमारियां भी घेरे हैं. इसलिए ठीक से खाना-पीना भी नहीं कर पाते. उस पर लंबे समय से जेल में है. इससे उनका स्वास्थ्य लगातार गिरता जा रहा है.

एएमयू के छात्र उठा रहे रिहाई की आवाज

 

अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्रों ने आजम खान की रिहाई की मांग बुलंद किए हैं. छात्रनेता फरहान जुबैरी ने कहा कि हम किस राजनीतिक मंच से जुड़े हैं. ये मायने नहीं रखता.

बतौर एक अलीग आजम खान हमारे बड़े भाई हैं. बुजुर्ग हैं. सभी राजनीतिक दलों के मुस्लिम नेताओं से हमारी अपील है कि वे आजाम खान के लिए सड़क पर आकर आवाज उठाएं. इससे पहले कि शहाबुद्​दीन की तरह देरी हो जाए.

फरहान का आरोप है कि अखिलेश यादव इसलिए आजम खान के लिए बोलने से डर रहे हैं कि कहीं यादव वोट नाराज न हो जाए. इसलिए हमें उनसे कोई उम्मीद नहीं है. हम अपने नेता के लिए लड़ेंगे. (MP Azam khan Amu )

आज एएमयू में हमें प्रोटेस्ट करना था. लेकिन कम समय था. कल ईद है. हम दुआ करते हैं कि उनकी सेहत अच्छी हो जाए. वरना अगले दिन हम कैंपस में आंदोलन करेंगे. (MP Azam khan Amu )

आजम खान एमएमयू के छात्र रहे हैं. उन्होंने वहां से एलएलबी की है. इसलिए अलीगढ़ के पास आउट छात्र ट्वीटर पर भी उनके हक में आवाज उठा रहे हैं. और रिहाई की मांग कर रहे हैं.

मुस्लिम लीडरशिप की खामोशी पर सवाल

आजम खान के मुद्​दे पर समाजवादी पार्टी ही नहीं बल्कि पार्टी के दूसरे मुस्लिम नेताओं की खामोशी को लेकर भी लोग तीखे सवाल उठा रहे हैं. पार्टी के मुस्लिम नेता निशाने पर हैं, जिनसे ये पूछा जा रहा है कि वे किस मजबूरी के तहत आजम खान के हक में नहीं बोल पा रहे हैं.

बोल रही कांग्रेस, एआइएमआइम

आजम खान समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं. जिन्होंने अपनी पूरी जिंदगी समाजवादी संघर्ष में बिताई है. लेकिन उनकी इस हालत पर समाजवादी संघर्ष से पीछे हट गए हैं. इस स्थिति में कांग्रे के नेता इमरान प्रतापगढ़ी हों या फिर पीस पार्टी के शादाब चौधरी, एमआइएमआइएम के नेता, आजम खान के लिए आवाज उठा रहे हैं. (MP Azam khan Amu )

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