द लीडर : देश के मशहूर इस्लामिक स्कॉलर मौलाना कलीम सिद्दीकी को उत्तर प्रदेश के आतंक निरोधी दस्ता (ATS) ने मंगलवार देर रात हिरासत में लिया है. उनकी गिरफ्तारी की खबर से हलचल मच गई है. बीते 7 सितंबर को मौलाना मुंबई में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत से मिले थे. जहा उन्होंने राष्ट्र प्रथम-राष्ट्र सर्वोपरि कार्यक्रम में हिस्सा लिया था. एटीएस ने मौलाना पर धर्मांतरण गिरोह चलाने का आरोप लगाया है. (Maulana Kaleem Siddiqui ATS)
मौलाना को एटीएस ने अदालत के समक्ष पेश किया. जहां करीब डेढ़ घंटे बहस चली. इस बात को लेकर कि पुलिस ने मौलाना को रिमांड पर भेजने की मांग की थी. जिसे अदालत ने खारिज करते हुए न्यायिक हिरासत में भेजने का आदेश दिया है.
64 साल के मौलाना मुजफ्फरनगर जिले के फुलत गांव के रहने वाले हैं. गांव में ही एक मदरसा जामिया इमाम वलीउल्लाह इस्लामिया स्थापित किया है. जिसके निदेशक हैं.
मौलाना कलीम उच्च शिक्षित हैं. मेडिकल के प्री-टेस्ट में ऑल इंडिया 57वीं रैंक हासिल करने वाले मौलाना ने बाद में मेडिकल की पढ़ाई नहीं की थी. और मजहबी व शिक्षा के काम में जुट गए.
इसे भी पढ़ें-मालाबार विद्रोह के 100 साल: वे मुस्लिम क्रांतिकारी, जिनसे अंग्रेजों से ज्यादा RSS ने नफरत की
मंगलवार की रात वह मेरठ के एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने गए थे. वापसी के दौरान रास्ते में उन्हें एटीएस ने उठा लिया. परिवार ने फोन पर संपर्क किया तो मोबाइल बंद मिला. इसके बाद खोजबीन शुरू हुई. सारी रात पुलिस और परिजन मौलाना और उनके साथियों को तलाशते रहे. लेकिन कोई सुराग नहीं लगा. गुस्साए परिजनों ने पुलिस स्टेशन के बाहर विरोध दर्ज कराया.

सुबह को पता लगा कि उन्हें एटीएस ने उठाया है. उनके साथी मौलाना और ड्राईवर को भी हिरासत में लिया है. उनकी हिरासत, धर्मांतरण के आरोप से जुड़ी है.
दरअसल, कुछ दिनों पहले ही यूपी एटीएस ने नोएडा से मौलाना उमर गौतम को गिरफ्तार किया था. इस दावे के साथ कि वह अवैध धर्मांतरण गिरोह चलाते हैं. जिसके अंतर्गत सैकड़ों गरीब, बच्चों और महिलाओं का धर्म बदला चुके हैं. हालांकि उमर गौतम इन आरोपों को सिरे से नकार चुके हैं. (Maulana Kaleem Siddiqui ATS)
उमर के मामले को जमीयत उलमा-ए-हिंद भी कानूनी तौर पर मदद कर रही है. अब इसी मामले में मौलाना कलीम सिद्दीकी की गिरफ्तारी ने मुस्लिम समाज में बेचैनी पैदा कर दी है.
मौलाना कलीम देश ही नहीं बल्कि दुनिया भर के शैक्षिक और धार्मिक कार्यक्रमों में शामिल होते रहे हैं. गुजरात के मुफ्ती अनस और अभिनेत्री सना खान के निकाह को लेकर भी वह चर्चा में रहे थे.
यूपी एटीएस ने एक प्रेस नोट जारी किया है. जिसमें आरोप लगाया कि मौलाना कलीम विदेशी फंडिंग के माध्यम से भारत में सामाजिक सौहार्द की आड़ में धर्मांतरण गिरोह संचालित कर रहे हैं. उन्हें मौलाना उमर गौतम के साथ जोड़ा गया है. एटीएस के दो पन्नों के नोट में धर्मांतरण को लेकर सिलसिलेवार तरीके से तमाम आरोप रखे गए हैं. उन्हें कोर्ट में पेश कर पुलिस कस्टडी रिमांड मांगी गई है. मामले की जांच के लिए एटीएस ने छह टीमें बनाई हैं.