द लीडर हिंदी, लखनऊ | कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष तिवारी ने बड़ा दावा किया है. उन्होंने कहा है कि बीजेपी सरकार लोकसभा में सीटों की संख्या को बढ़ाने के लिए एक प्रस्ताव लाने वाली है.
उन्होंने कहा है कि अगर ऐसा प्रस्ताव रखा जाता है तो फिर आम लोगों की राय भी इस पर ली जानी चाहिए. उन्होंने ये भी दावा किया है कि इसके लिए पार्लियामेंट का नया चैंबर भी तैयार किया जा रहा है.
वहीं, जानकारों का कहना है कि नई संसद में अधिक सांसदों के बैठने की जगह होगी और नेताओं की संख्या बढ़ी तो भी जगह की कमी नहीं रहेगी.
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मनीष तिवारी ने ट्वीट किया, “मुझे बीजेपी के पार्लियामेंट्री साथी ने विश्वसनीय जानकारी दी है कि 2024 लोकसभा चुनाव से पहले निचले सदन की स्ट्रेंथ 1000 या उससे अधिक किए जाने का प्रपोजल रखा गया है.
जो नया पार्लियामेंट बनाया जा रहा है, उसमें भी 1000 सदस्यों के बैठने की क्षमता रखी गई है. इससे पहले कि यह फैसला लिया जाए, सरकार को चाहिए कि वो इस मुद्दे को लेकर गंभीरता से सार्वजनिक तौर पर बातचीत करे.”
I am reliably informed by Parlimentary colleagues in @BJP4India that there is a proposal to increase strength of Lok Sabha to 1000 or more before 2024. New Parliament Chamber being constructed as a 1000 seater.
Before this is done there should be a serious public consultation.— Manish Tewari (@ManishTewari) July 25, 2021
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कांग्रेस नेता कार्ति चिदंबरम ने भी किया ट्वीट
मनीष तिवारी के ट्वीट पर कांग्रेस नेता कार्ति चिदंबरम ने भी ट्वीट किया. उन्होंने कहा है कि इस मामले पर सार्वजनिक बहस की जरूरत है. उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, “इस मामले पर सार्वजनिक बहस की जरूरत है.
हमारे जैसे बड़े देश को ज्यादा निर्वाचित प्रतिनिधियों की आवश्यकता है. लेकिन अगर ये बढ़ोतरी जनसंख्या के आधार पर की गई है तो इससे दक्षिणी राज्यों का प्रतिनिधित्व और कम हो जाएगा. जो कहीं से भी स्वीकार्य नहीं होगा.”
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क्या सीटों की संख्या 2024 से पहले बढ़ाई जा सकती है?
इस सवाल का सीधा जवाब नहीं है. अब तक लोकसभा और राज्यसभा की सीटों की संख्या तीन बार बढ़ाई जा चुकी है. संसद में सीटों की संख्या बढ़ाने के लिए परिसीमन आयोग का गठन किया जाता है.
अब तक देश में चार बार परिसीमन आयोग का गठन किया गया है, लेकिन परिसीमन आयोग ने तीब बार ही सीटों की संख्या बढ़ाई है.
साल 2002 में परिसीमन आयोग ने सीटों की संख्या बढ़ाने का फैसला पांचवें परिसीमन आयोग पर छोड़ दिया. पांचवें परिसिमन आयोग का गठन 2026 में होना है.
खास बात ये है कि 84वें संशोधन के हिसाब से साल 2021 की जनसंख्या के आधार पर ही सीटों की संख्या बढ़ाई जाएगी. इसलिए मनीष तिवारी के दावे में ज्यादा सच्चाई नहीं दिखती है. हालांकि, सरकार आम सहमति या दो तिहाई बहुमत से संविधान संशोधन के साथ ऐसा करने के लिए स्वतंत्र है.
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