अतीक खान
कृषि कानूनों को लेकर हरियाणा की खट्टर सरकार के खिलाफ बुध्वार को विपक्ष जो अविश्वास प्रस्ताव लेकर आया था. वो गिर गया है. इस पर खट्टर ने कहा कि विपक्ष ने पहले ही ये मान लिया था कि वो केवल चर्चा के लिए ये प्रस्ताव लेकर आए हैं. ये सरकार गिराने के लिए नहीं है. हमने उनकी आपत्तियों पर एक-एक करके बात की और प्रस्ताव औंधे मुंह गिर गया है. (Khattar Government Haryana CM Emotional)
ये अविश्वास प्रस्ताव पेश करने के साथ विपक्ष के नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने किसान आंदोलन में मारे गए 250 से अधिक किसानों के प्रति शोक-संवेदना को शामिल किए जाने की मांग की थी. इस बीच सदन से मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के भावुक होने का एक वीडियो सामने आया था.
आज विपक्ष (कांग्रेस) विधानसभा में अविश्वास प्रस्ताव लेकर आए थे, उन्होंने पहले ही ये बात मान ली थी कि हम सिर्फ चर्चा के लिए अविश्वास प्रस्ताव लाए हैं, ये सरकार को गिराने के लिए नहीं है.. हमने उनकी आपत्तियों पर एक-एक करके बात कहीं। उनका अविश्वास प्रस्ताव औंधे मुंह गिरा: हरियाणा CM pic.twitter.com/9piUOmUpfe
— ANI_HindiNews (@AHindinews) March 10, 2021
केंद्र सरकार के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली की सीमाओं पर पिछले 105 दिन से किसान आंदोलन चल रहा है. दिसंबर में जब, पंजाब-हरियाणा के किसानों ने दिल्ली कूच किया था, तब हरियाणा में उन पर लाठियां भांजी गईं थीं. वाटर कैनन, आंसू गैस के गोले दाग गए थे. रास्ता रोकने के लिए हाईवे तक पर गहरी खांई खोदने का जतन हुआ था. इसको लेकर खट्टर सरकार की जबरदस्त आलोचना हुई.
विपक्ष अपने लोगों को संभाल कर रख ले ये ही बहुत बड़ी बात है, किसी प्रकार की कोई समस्या नहीं है। सरकार के खिलाफ जो अविश्वास प्रस्ताव लाया जा रहा है वो निश्चित गिरेगा: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर pic.twitter.com/8VVVJFMUUK
— ANI_HindiNews (@AHindinews) March 10, 2021
बुधवार को सदन में मनोहर लाल खट्टर सरकार ने उस आरोप को सिरे से खारिज कर दिया कि किसानों पर सरकार के आदेश से लाठियां बरसाई गई थीं. हरियाणा में भाजपा और जेजेपी गठबंधन की सरकार है. आंदोलन की शुरुआत से ही जेजेपी के नेता और राज्य के उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला पर गठबंधन से बाहर निकलने का दबाव है. यहां तक कि जेजेपी के विधायक भी अब ये बात खुलकर बोलने लगे हैं.
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जेजेपी के विधायक रघुवीर काद्यान का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें वे ये कहते सुने जा रहे हैं कि अब तो हालात ये हो गए हैं कि गठबंधन का साथ छोड़ देना चाहिए. अब हमारा साथ में रहने का कोई अधिकार नहीं हैं, क्योंकि लोग हमें गांव में घुसने नहीं दे रहे हैं.
Reality of Haryana's political scenario via JJP's mla…!!!
— Ayush (@AyushForIndia) March 9, 2021
हालांकि मनोहर लाल खट्टर अविश्वास प्रस्ताव से पूरी तरह से निश्चिंत हैं. उन्होंने विपक्ष को ही निशाने पर लेते हुए कहा कि पहले वह अपने लोगों को ही संभाल लें, उसके लिए यही बहुत बड़ी बात है. सरकार के खिलाफ जो अविश्वास प्रस्ताव लाया जा रहा है, वो निश्चित ही गिरेगा.
डेढ़ साल पहले ही मनोहर लाल खट्टर दूसरी बार राज्य के मुख्यमंत्री बने थे. अपने दूसरे कार्यकाल में वे किसानों के मुद्दे पर आलोचना और अविश्वास प्रस्ताव का सामना कर रहे हैं.
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सत्ता के भोग में किसानों के “दुष्+मन” बने,
खट्टर व दुष्यन्त चौटाला की सरकार।जजपा के मैनिफेस्टो में MSP का कानून बनाने व फसलों की खरीद पर 10% या 100रु प्रति क्विंटल बोनस का वादा था।
आज मोदी व खट्टर सरकार की गोदी में बैठकर हरियाणा की जनता की आत्मा को कुरेदने का काम कर रहे हैं। pic.twitter.com/nhvLxksfn5
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) March 10, 2021
कांग्रेस ने हरियाणा सरकार पर निशाना साधा है. कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने घोषणा पत्र की एक प्रति साझा करते हुए लिखा कि सत्ता के भोग में खट्टर-दुष्यंत की सरकार किसानों की दुश्मन बन बैठी है.