कॉर्बेट पार्क समेत उत्तराखंड के कई जंगल जलने लगे

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द लीडर देहरादून

उत्तराखंड के कई जंगल एक बार एक साथ धधक रहे हैं। कुमाऊं गढ़वाल को जोड़ने वाला कॉर्बेट नेशनल पार्क हो या हरिद्वार के सामने राजा जी नेशनल पार्क से जुड़े जंगल सभी जगह आसमान में धुआं है।  नैनीताल के आसपास की पहाड़ियां भी जल रही हैं। पर्वतीय ज़िलों में तो 15 से ज्यादा स्थानों से फायर अलर्ट की सूचनाएं हैं।
प्रदेश के पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने शनिवार को एक वीडियो से संदेश जारी कर स्थिति को चिंताजनक बताया है। अशोक कुमार ने बताया कि अकेले गुजरे मार्च महीने में 278 जगह जंगल की आग की सूचनाएं मिली। यह भी साफ हुआ है कि ज्यादातर मामलों स्थानीय शरारती तत्वों का हाथ है। आईपीसी की धाराओं का हवाला देते हुए उन्होंने कठोर कार्रवाई की चेतावनी दी है।
रामनगर से मिली खबर के अनुसार कॉर्बेट नेशनल पार्क में दक्षिणी छोर से भयानक आग लगी है। गर्मी औऱ हवाओं की वजह से फायर फाइटर इसे अब तक काबू नहीं कर पाए हैं। पर्यटकों के आकर्षण केंद्र इस वन में वन्यजीवों का संकट खतरे में है। हाथी और बाघ जैसे जानवर बस्तियों की तरफ भी आ सकते है इसलिए गांववालों को अलर्ट किया गया है।
हरिद्वार में कुम्भ चल रहा है और सामने की पहाड़ियों में आग लगी हुई है। शनिवार को वन विभाग और स्थानीय लोग कई घंटे आग से जूझते रहे। पिथौरागढ़ के कनालीछीना इलाके में पनखोली ग्राम पंचायत के लोगों ने आज ही जलते जंगलों की तस्वीरें भेजी हैं।

 

कनालीछीना में गांव तक पहुंच गई आग


बद्रीनाथ और केदारनाथ वन प्रभाग में पिछले दिनों हुई वर्षा से कई दिनों के जल रहे जंगलों की आग बुझ पाई थी यहां फिर कुछ क्षेत्रों में आग लग गई है।

टिहरी से मिली सूचना के अनुसार एक अप्रैल को खुरैत के जंगल में भीषण आग लग गई। मसूरी – चम्बा रोड के इर्द-गिर्द की पहाड़ियों में जो जंगल हैं वह जल कर ध्वस्त हो गये। तेज गति की हवा के कारण,आग दुगनी गति से फैल रही थी। देखते-देखते, आग ज्वारना, ओंकारानन्दा आश्रम, घियाधार और आस-पास पहुँच गयी, जहाँ पर फल पट्टी की योजना के सेव के बागों को खतरा हो गया था। आग की गगन चुम्बी लपटें पेड़ों को जलाकर तहस नहस कर बागों की तरफ बड़ रही थीं।
स्थानीय लोगों ने टिहरी के अरण्यपाल को इस बारे में अवगत कराया और सहकारी तंत्र से आग को बुझाने के लिए मदद मांगी। मदद के लिए एक दमकल आयी और मात्र सांकेतिक कार्यवाही कर चली गयी। उसके बाद और कोई सहायता नहीं भेजी गयी। लोगों ने मिलकर आग को काबू करने के अथक प्रयास करे और जैसे तैसे रात गुजारी। दो अप्रैल को फिर शोले भड़क गये और आग ने जोर पकड़ लिया। एक भी सहकारी कर्मचारी या फायर गार्ड मौके पर नहीं पहुँचा। इस बारे में मुख्यमंत्री को शिकायत भेजी गई है।

 

 

मसूरी के पास कैंपटी क्षेत्र में यमुना ब्रिज के पास भेड़ियाना गांव के जंगलों समेत गेहूं की खडी फसलों में भीषण आग लग गई इतना ही नहीं बल्कि एक गौशाला भी आग की चपेट में आने से जलकर खाक हो गई करीब 2 किलोमीटर क्षेत्र में फैली भीषण आग से लोगों में दहशत का माहौल है आग की सूचना मिलते ही फायर सर्विस समेत वन विभाग और पुलिस की टीम मौके पर पहुची और राहत कार्यो में जुट गई आग जगल में लगने के कारण फायर सर्विस मौके पर नही पहुच पाई पर फायर सर्विस के जवानों ने ग्रामीणों के साथ मिलकर आग पर काबू पाने की कोशिश करने का प्रयास किया परन्तु तेज हवाओं के कारण आग लगातार बढने से लोगो को भारी परेशानियों का सामना करना पडा पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य संदीप खन्ना ने बताया कि यमुना ब्रिज के पास के जगलों में असामाजिक तत्वों द्वारा आग लगाई होगी

 

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