आला हजरत के मदरसा मंजरे इस्लाम के 5 छात्रों का मिस्र की अल अजहर यूनिवर्सिटी में दाखिला

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Ala Hazrat Al Azhar University
दरगाह आला हजरत.

द लीडर : आला हजरत द्वारा स्थापित मदरसा मंजर-ए-इस्लाम के पांच छात्रों का एडमिशन, इस्लामिक जगत की ऑक्सफोर्ड मानी जाने वाली मिस्र की अल अज़हर यूनिवर्सिटी में हुआ है. हर साल मंजरे इस्लाम के होनहार छात्र मिस्र के इस विश्वविद्यालय में एडमिशन पाते हैं. पिछले साल भी तीन छात्रों का सेलेक्शन हुआ था. दरगाह प्रमुख मौलाना सुब्हानी मियां और सज्जादानशीन मुफ्ती अहसन मियां समेत मदरसे के शिक्षकों ने छात्रों को मुबारकबाद पेश की है. (Ala Hazrat Al Azhar University)

मदरसा मंजरे इस्लाम के शिक्षक मुफ्ती सलीम नूरी-बरेलवी बताते हैं कि देश के कुछ मदरसे हैं, जिन्हें अल अजहर विश्वविद्यालय से मान्यता प्राप्त है. मंजरे इस्लाम भी इनमें से एक है. दरगाह आला हजरत के प्रमुख सुब्हानी मियां के दादा हजरत जीलाानी मियां के दौर में उनके बेटे ताजुश्शरिया-मुफ्ती अख्तर रजा खां, मौलाना शमीम अजहरी भी अल अजहर पहुंचे थे

बीच में कुछ वक्त के लिए ये सिलसिला ठहर गया. लेकिन सुब्हानी मियां और अहसन मियां की कोशिशों से दोबारा 2010 से मंजरे इस्लाम, अल हजरत के बीच जुड़ाव हो गया. तब से हर साल यहां के छात्र मिस्र जाते हैं.

ये पहला मौका है जब एक साथ 5 छात्रों का चयन हुआ है. इसमें मुहम्मद रेहान, मुहम्मद बिलाल, असद अरफात, हशीम हुसैन और मुहम्मद कुलीमुर्रहमान शामिल हैं. इससे पिछले सत्र में सैयद रिहाान रजा और सैयद अफरोज मियां का सेलेक्शन हुआ था. ये दोनों पिछले साल नहीं जा सके थे. लेकिन यूनिवर्सिटी ने इन्हें दोबारा पढ़ाई का मौका दे दिया है.

12 नवंबर को होंगे रवाना

2020-21 सत्र में जिन पांच छात्रों का एडमिशन हुआ है. वे 12 नवंबर को मिस्र के लिए रवाना होंगे. खास बात ये है कि चार साल तक ग्रैजुएशन की पढ़ाई का खर्च भी यूनिवर्सिटी की स्कॉलरशिप से पूरा होगा. यानी पढ़ाई के एवज में छात्रों को अपने पास से कुछ भी खर्च करना नहीं होगा. मुफ्ती सलीम नूरी के मुताबिक छात्रों को हर महीने करीब 6-7 हजार रुपये मासिक छात्रवृत्ति मिलेगी. इस बार तो छात्रों का टिकट भी यूनविर्सिटी ने ही भेजा है.

कुलपति और राजदूत का शुक्रिया

दरगाह प्रमुख सुब्हानी मियां ने दिल्ली में मिस्र के दूतावास में तैनात राजदूत वाइल हामिम और यूनिवर्सिटी के कुलपति का शुक्रिया अदा किया है. मुफ्ती सलीम नूरी ने राजदूत से दरगाह प्रमुख की बात कराई. भारतीय छात्रों के संगठन के अध्यक्ष मौलाना ताज मुहम्मद खान अज़हरी का भी मंज़रे इस्लाम के प्रधानाचार्य मुफ़्ती आक़िल ने शुक्रिया अदा किया है.

दरगाह के मीडिया प्रभारी नारिस कुरैशी ने बताया कि दरगाह और मदरसे की यही कोशिश है कि हम अपने बच्चों को अच्छी तालीम दें. और उन्हें दुनिया के सबसे बड़े शैक्षिक इरादों तक पहुंचाएं.

मिस्र जाने वाले छात्रों के नाम हैं मौलाना सय्यद रेहान मुरादाबाद, मौलाना सय्यद अफ़रोज़ मियाँ रामपुर, मौलाना कलीम उर्रहमान ख़ान बरेली, मौलाना हशीम हुसैन बरेली, मौलाना रेहान रज़ा बरेली, मौलाना असद अराफ़ात जम्मू, मौलाना बिलाल रज़ा ख़ाँ पीलीभीत।

तहरीके तहफ़्फ़ुज़े सुन्नियत के परवेज़ खां नूरी, औरंगज़ेब खां नूरी, शाहिद खां नूरी,ताहिर अल्वी, हाजी जावेद, अजमल नूरी,शान सुब्हानी,मंज़ूर खां आदि ने छात्रों को मुबारकबाद दी है. और दरगाह पर इनका सम्मान किया गया. तंज़ीम उलेमा इस्लाम के मौलाना शहाबुद्दीन रज़वी ने अपने इस्लामिक रिसर्च सेंटर में भी एक सम्मान कार्यक्रम किया. इस दौरान ज़ुबैर रज़ा खान, मिर्ज़ा तौहीद बेग ने इन्हें यह हिदायत दी कि वहां जाकर अपने मसलक और अपने देश का नाम रौशन करना है.

 

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