बरेली : ज्ञानवापी मस्जिद, मौलाना तौक़ीर रज़ा और अब एक साथ आठ को फांसी

द लीडर हिंदी : उत्तर प्रदेश का जिला बरेली इनदिनों चर्चा में बना हुआ है. पहले बवाल, फिर मौलाना तौकीर रजा के खिलाफ समन, और अब एक साथ आठ लोगों को फांसी की सजा. प्रदेश में एक के बाद एक बड़े मामले सामने आ रहे है. बरेली  में 7 मार्च बृहस्पतिवार को 10 साल पहले सुरेश शर्मा नगर में हुए तिहरे हत्याकांड में आठ बदमाशों को फांसी की सजा सुनाई गई है. जबकि सुनार को उम्रकैद की सजा हुई. स्पेशल जज फॉस्ट ट्रैक कोर्ट रवि कुमार दिवाकर ने कल सभी दोषियों को सजा सुनाई.सुरेश शर्मा नगर में 10 साल पहले घर में घुसकर डकैती के दौरान आयकर विभाग के निरीक्षक की मां, भाई और भाभी की हत्या करने के मामले में 9 अभियुक्तों को दोषी करार देते हुए उनमें से आठ को फांसी तथा एक को आजीवन कारावास की सजा सुनायी है

सुरेश शर्मा निवासी रविकांत मिश्रा की तरफ से मुकदमा दर्ज कराया गया था, जिसमें बताया गया था कि वह पीलीभीत में आयकर विभाग के निरीक्षक के पद पर कार्यरत हैं. 21 अप्रैल 2014 की सुबह नौ बजे वह अपने घर से पीलीभीत के लिए निकले थे. अगली सुबह फोन पर सूचना मिली थी कि उनके परिजनों से संपर्क नहीं हो पा रहा है. खुद उन्होंने भी कॉल की, लेकिन संपर्क नहीं हो सका. वह घर पहुंचे तो मेन गेट के अंदर से बंद था. गैलरी में खिड़की खुली थी और ग्रिल निकला हुआ था.वही बगल की छत से अंदर जाकर देखा तो उनकी मां की लाश सीढ़ियों के पास पड़ी थी. घर का सामान बिखरा था और अलमारी टूटी हुई थी. बदमाशों ने लूटपाट के इरादे से उनकी मां पुष्पा देवी, भाई योगेश मिश्रा व भाभी प्रिया की हत्या कर दी थी.

दरअसल, 10 साल पहले इनकम टैक्स के इंस्पेक्टर के घर बदमाशों ने डकैती के दौरान तिहरे हत्याकांड को अंजाम दिया था.इसमें आयकर विभाग के इंस्पेक्टर की मां, भाई और भाभी की निर्मम हत्या कर दी गई थी. स्पेशल जज फास्ट ट्रैक कोर्ट रवि कुमार दिवाकर ने छैमार हसीन गैंग के 9 लोगों को सजा सुनाई है. बारादरी थाना क्षेत्र के सुरेश शर्मा नगर में 20 अप्रेल 2014 हत्याकांड हुआ था. कोर्ट ने आठ लोगों को मृत्यु दंड दिया गया है और एक आरोपी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है.

इस मामले में पुलिस ने अभियुक्तगण वाजिद, हसीन, यासीन उर्फ जीशान, नाजिमा, हाशिमा, राजू वर्मा, समीर उर्फ साहिब उर्फ नफीस, जुल्फास व जहीर उर्फ शंकर के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया था.बता दें स्पेशल जज फॉस्ट ट्रैक कोर्ट रवि कुमार दिवाकर ने चार मार्च को सभी नौ अभियुक्तों को दोषी करार दिया. बृहस्पतिवार को उन्हें सजा सुनाई गई. आठ बदमाशों को कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई है.वही लूट का सामान खरीदने वाले सुनार को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है.

काफी सनसनीखेज था तिहरा हत्याकांड
छैमार डेरों पर पुलिस की दबिश पड़ी थी. इससे घटना का खुलासा 2 मई 2014 को हुआ था. मुखबिर से सूचना पर बिथरी के उमरिया गांव में नदी के किनारे स्थित डेरों पर पुलिस ने दबिश दी थी. एक व्यक्ति और दो महिलाएं मिलीं. तलाशी में चार चांदी के सिक्के बरामद हुए. पेंट की जेब से एक पर्स मिला. इसमें गुप्ता पौली क्लीनिक का पर्चा मिला जिसमें पुष्पा देवी का नाम ऊपर लिखा था.

वही दूसरे कागज पर आयकर विभाग योगेश मिश्रा लिखा हुआ था. पकड़ी गयी महिलाओं ने अपना नाम नाजिमा उर्फ कल्लो पत्नी हसीन, दूसरी ने हाशिमा पत्नी यासीन बताया था. व्यक्ति ने अपना नाम वाजिद बताया था. पर्स को देखने पर विजय देव मिश्रा ने रोते हुए बताया कि यह मेरे भाई योगेश का है. वाजिद सख्ती से पूछताछ में उसने जुर्म कबूल कर घटनाक्रम का खुलासा किया था.वही वाजिद ने बताया था कि सब्बल के सहारे खिड़की की ग्रिल हटाकर घर में घुसे थे.

ये भी पढ़ें-https://theleaderhindi.com/amazing-in-dharamshala-test-rohit-sharma-scored-a-brilliant-12th-century-of-his-test-career/