यूपी की राह पर उत्तराखंड:मंदिरों के बाहर लगाए पोस्टर

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द लीडर देहरादून

योगी आदित्य नाथ की जन्मभूमि उत्तराखंड भी उनकी राह पर है। उनके पुराने संगठन हिन्दू युवा वाहिनी ने तेवर दिखाने शुरू कर दिए हैं। मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत जहां बिना नाम लिए खास वर्ग को निशाना बना रहे थे वहीं हिन्दू युवा वाहिनी मंदिरों पर पोस्टर चिपका कर अपने हिन्दू धार्मिक एजेंडे पर काम कर रही है।

कल राजधानी देहरादून के मंदिरों में ऐसे पोस्टर लगा दिए गए, जिसे देखकर पुलिस भी हरकत में दिखी। देहरादून में घंटाघर व चकराता रोड स्थित हनुमान मंदिर, दर्शनलाल चौक स्थित पंचायती मंदिर में ऐसे पोस्टर लगा दिए गए, जिसमें गैर हिंदुओं का प्रवेश वर्जित बताया गया। इससे मंदिर समिति के सदस्यों में हड़कंप मच गया। इसकी सूचना पुलिस को दी गई। पुलिस ने पोस्टरों को हटवा दिया।
रविवार को एक साथ कई मंदिरों में लगाए गए पोस्टरों में लिखा हुआ था कि ये तीर्थ हिंदुओं का पवित्र स्थल है। यहां गैर हिंदुओं का प्रवेश वर्जित है। हिंदू युवा वाहिनी संगठन का नाम लिखा हुआ है। साथ ही इसमें एक मोबाइल नंबर भी दिया गया है। इन पोस्टरों को लेकर कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने कहा कि ये धार्मिक भावनाओं को भड़काने का प्रयास किया जा रहा है। इससे प्रदेश का माहौल खराब होगा। उन्होंने कहा कि गैर हिंदू मंदिरों में क्यों जाएगा। इन पोस्टरों को माहौल खराब करने के लिए जानबूझकर लगाया गया है।
उधर, शहर कोतवाली पुलिस ने बताया कि आज 13 मार्च को सूचना प्राप्त हुई कि घंटाघर, चकराता रोड, हनुमान मंदिर एवं दर्शन लाल चौक पर स्थित पंचायती मंदिर में एक बैनर लगाया गया है। इस पर इस पर चौकी प्रभारी धारा ने तत्काल मौके पर जाकर जानकारी ली। बैनर के संबंध में मंदिर के सदस्यों से जानकारी की गई तो उन्होंने बताया गया कि हमें इस संबंध में कोई जानकारी नहीं है। पोस्टरों को समिति के लोगों ने हटवा दिया। चकराता रोड मंदिर बंद था। इस पर पुलिस ने बैनर हटाया। बैनर पर अंकित मोबाइल नंबर के बारे में जानकारी जुटाई तो पता चला कि उक्त नंबर जीतू रंधावा का है। वह हिंदू युवा वाहिनी का प्रदेश महासचिव है। उसके खिलाफ धारा 153(क) भारतीय दंड संहिता खिलाफ धार्मिक भावनाएं भड़काने के तहत अभियोग पंजीकृत किया गया।

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