इटावा की राजनीतिक में पलट गया पासा, बीजेपी उम्मीदवार की पत्नी ने पति के खिलाफ नामांकन दाखिल किया

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द लीडर हिंदी: भाजपा मैनपुरी और रायबरेली में रिश्तेदारों को आपस में ही लड़वाने में अभी तक तो सफल नहीं हुई है पर इटावा में अब खुद उसके ही प्रत्याशी पर ही आफत आ गई है. वहां से भाजपा उम्मीदवार रामशंकर कठेरिया चुनाव लड़ रहे हैं. मगर 24 घंटे में ही पासा पलटता नजर आ रहा है. कठेरिया नामांकन दाखिल कर चुके हैं, लेकिन इसी बीच उनकी पत्नी ने निर्दलीय नामांकन करके राजनीतिक माहौल गर्म कर दिया है. असल में वहां कठेरिया की पत्नी मृदुला कठेरिया ने अपने ही पति के खिलाफ यलगार कर दिया है और निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन दाखिल कर दिया है. बता दें कि 2019 के लोकसभा चुनाव में भी मृदुला कठेरिया ने निर्दलीय नामांकन किया था, लेकिन उस समय उन्होंने अपना नामांकन वापस ले लिया था.लेकिन इस बार मृदुला ने कहा कि लोकतंत्र में सभी को आजादी है और महिलाओं को भी अधिकार मिलने चाहिए.

इसलिए हमने भी निर्दलीय नामांकन किया है .अब मृदुला का कहना है कि इस देश में लोकतंत्र है और हर कोई चुनाव लड़ने के लिए स्वतंत्र है. वैसे पति के खिलाफ पत्नी के मैदान में उतरने से बीजेपी की परेशानी बढ़ गई है. नामांकन करने के बाद मृदुला कठेरिया ने कहा कि उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर पर्चा भरा है और नामांकन वापस लेने के सवाल पर उन्होंने कहा कि वापस लेने के लिए नहीं नामांकन किया है.

चुनाव लड़ेंगे. मृदुला कठेरिया ने कहा कि यहां जनतंत्र, प्रजातंत्र और लोकतंत्र है, सभी लोग स्वतंत्र हैं. ये हमारा जन्मसिद्ध अधिकार है. इटावा से निर्दलीय उम्मीदवार मृदुला कठेरिया ने एक सवाल के जवाब में साफ कहा कि वह उनके (पति) साथ नहीं हैं। दिलचस्प बात यह है कि एक दिन पहले तक मृदुला अपने पति के लिए वोट मांग रही थीं पर दोनों पति-पत्नी के बीच 24 घंटे में न जाने क्या हुआ कि उन्होंने निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर अपना नामांकन दाखिल कर दिया.2024 चुनावी बिसात बिछ चुकी है.ऐसे में सभी दल आगे क्या चाल चलने वाले है ये तो वक्त ही बताएगा.

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