जानिए क्या है पनामा पेपर लीक जिसके कारण प्रवर्तन निदेशालय ने ऐश्वर्या राय को भेजा नोटिस

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द लीडर | पनामा पेपर्स से जुड़े मामले में ऐश्वर्या राय बच्चन को समन किया गया है। उन्हें प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पूछताछ के लिए बुलाया, जिसके बाद ऐश्वर्या ईडी के दिल्ली दफ्तर में पूछताछ में शामिल होने पहुंचीं। इस मामले में हाल ही में ईडी ने अभिषेक बच्चन को भी समन किया था।


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क्या है पनामा पेपर लीक 

 

टैक्स हेवेन कहे जाने वाले देश पनामा की एक लॉ फर्म मोसेक फोंसेका का 40 साल का डेटा 3 अप्रैल, 2016 को लीक हो गया था। इसमें खुलासा हुआ कि कैसे दुनियाभर के अमीर और प्रभावशाली लोग टैक्स बचाने के लिए पैसा ऑफ-शोर कंपनियों में लगा रहे हैं। इस तरह से बड़े तौर पर टैक्स चोरी और मनी लॉन्ड्रिंग तक हो रही थी।

इन दस्तावेजों में फिल्मी सितारों और उद्योगपतियों सहित 500 भारतीयों के नाम शामिल हैं। इनमें बच्चन परिवार का नाम भी सामने आया था। दावा किया गया कि ऐश्वर्या राय देश से बाहर एक कंपनी की डायरेक्टर और शेयरहोल्डर थीं। ऐश्वर्या के अलावा उनके पिता के. राय, मां वृंदा राय और भाई आदित्य राय भी कंपनी में उनके पार्टनर थे।

ED कर रही मामले की जांच

इस पेपर लीक में अमिताभ बच्चन और ऐश्वर्या राय समेत कई भारतीय हस्तियों के नाम थे। सभी लोगों पर टैक्स धोखाधड़ी के आरोप लगे थे। इस मामले में नाम सामने आने के बाद अमिताभ ने कहा था कि उन्होंने भारतीय नियमों के तहत ही विदेश में धन भेजा है। उन्होंने पनामा पेपर्स में सामने आई कंपनियों से भी किसी तरह का संबंध होने से मना किया था।


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बढ़ सकती है बच्चन परिवार की मुश्किलें

सदी के महानायक और सुपरस्टार अमिताभ बच्चन पर आरोप है कि उन्होंने टैक्स की चोरी के लिए विदेशों में चार सेल कंपनी बनाई थीं। ये सभी शिपिंग कंपनियां थीं। बच्चन परिवार पर 4 सेल कंपनियां बनाने का आरोप है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, अभिषेक बच्चन को एक कंपनी का डायरेक्टर बनाया गया था।

अमिताभ ने पनामा मामले में दी थी सफाई

अमिताभ बच्चन इस मामले में नाम सामने आने के बाद सफाई दे चुके हैं। 2016 और फिर 2017 में बच्चन ने कहा था- ‘मैं देश के कानून से बंधा नागरिक हूं। मैं बताना चाहता हूं कि इंडियन एक्सप्रेस में जिस पनामा रिपोर्ट के हवाले से मेरे बारे में कहा गया है, मैं उन चार कंपनियों के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स में कभी नहीं रहा। मुझे खुशी है कि भारत सरकार ने इस पूरे मामले में जांच का आदेश दिया है। मैं खुद यह जानने के लिए उत्सुक हूं कि इन चार कंपनियों में मेरा नाम क्यों जोड़ दिया गया। मेरे नाम का गलत इस्तेमाल किया गया। मैंने सारे टैक्स नियम से चुकाए हैं।’


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