पाक संसद में पूर्व पीएम अब्बासी स्पीकर से बोले- जूते से मारूंगा !

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इस्लामाबाद

कट्टरपंथियों की जिद की वजह पाकिस्तान की इमरान खान सरकार ने अपने वादे के मुताबिक 20 अप्रैल को फ्रांसीसी राजदूत के निष्कासन को लेकर संसद में एक प्रस्ताव पेश किया। इस पर बुधवार को भी बहस हुई। संगठन तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान के दबाव में पेश किए गए इस प्रस्ताव पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर बहसबाजी हुई। एक बार तो बात इतनी बढ़ गई कि पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री शाहिद खाकन अब्बासी मर्यादा भूल बैठे और उन्होंने स्पीकर के खिलाफ बेहद आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल कर डाला और साथ ही जूते से मारने की धमकी भी दी जिसके बाद सदन की कार्यवाही को शुक्रवार तक के लिए स्थगित करना पड़ा।

पाकिस्तान की सत्तारूढ़ तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के सांसद अमजद अली खान ने संसद में फ्रांसीसी राजदूत को निष्कासित करने संबंधी प्रस्ताव पेश किया। इस दौरान उन्होंने मामले पर चर्चा के लिए एक विशेष संसदीय समिति के गठन का भी अनुरोध किया। इसके बाद पीटीआई के ही संसदीय मामलों के मंत्री अली मुहम्मद खान ने समिति के गठन के लिए एक दूसरा प्रस्ताव पेश किया, जिसे लेकर संसद में जमकर हंगामा हुआ।
पूर्व पीएम नवाज शरीफ की पार्टी पाकिस्तान मुस्लिम लीग-एन के नेताओं ने समिति के प्रस्ताव का विरोध किया। स्पीकर असद कैसर ने विपक्ष के विरोध को अनसुना करते हुए प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। जैसे ही स्पीकर ने समिति गठन के पक्ष में अपनी बात रखी, सदन में हंगामा शुरू हो गया। पीएमएल-एन के दिग्गज नेता और पूर्व प्रधानमंत्री शाहिद खाकान अब्बासी ने अनुरोध किया कि विपक्ष को एक घंटे का समय दिया जाए, ताकि वे प्रस्ताव की समीक्षा कर सकें, मगर स्पीकर ने उनकी मांग खारिज कर दी।
अपनी मांग खारिज होने से अब्बासी आग-बबूला हो गए। उन्होंने संसद की वेल में पहुंचकर तेज आवाज में विरोध करना शुरू कर दिया। जब स्पीकर ने उन्हें शांत होने के लिए कहा तो पूर्व प्रधानमंत्री अब्बासी भड़क गए। उन्होंने स्पीकर से कहा कि आपको शर्म नहीं आती? जूते उतारकर मारूंगा। इसके जवाब में स्पीकर ने कहा कि आप अपनी हद में रहें। दोनों के बीच तीखी बहसबाजी कुछ देर तक चलती रही। बाद में हंगामा बढ़ते देख सदन की कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा।

सदन से बाहर निकलते ही पत्रकारों ने उन्हें घेर लिया औऱ सवाल दागा की आखिर एक एक्स पीएम होकर भी वह सदन में ऐसा कह गए ? उनका जवाब था कि मैं तो मारने को तैयार था। सांसद होने के नाते बोलना मेरा हक़ है कोई मुझे नाजायज तरीके से टोकेगा तो ऐसा करूंगा।

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