द लीडर : चांद के दीदार के साथ ही इस्लामिक नए साल का आगाज हो गया है. मंगलवार की शाम को मुहर्रम की पहली तारीख लगते ही ट्वीटर पर इस्लामिक न्यूर ईयर ट्रेंड करने लग गया. दुनिया भर के इस्लामिक मुल्कों से बधाईयों का सिलसिला चल रहा है. दरगाह आला हजरत से जुड़े जमात रजा-ए-मुस्तफा ने नए साल की मुबारकबाद पेश की है. 20 अगस्त यौमे-ए-आशुरा की तारीख है. यानी इस्लामिक कैलेंडर की 10 तारीख को मुहर्रम होगा. (islamic new year 1443)
इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार नया साल 1443 हिजरी प्रारंभ हो चुका है. जमात रजा-ए-मुस्तफा के प्रवक्ता समरान खान ने बताया कि 9 अगस्त को चांद की गवाही नहीं मिली थी. मंगलवार को जिल्हिज्जा की 30 तारीख थी. बुधवार को मुहर्रम की पहली तारीख है.
मुहर्रम की पहली तारीख के साथ ही नज्र-ओ-नियाज का सिलसिला भी शुरू हो गया है. मुहर्रम पर शहीदाने कर्बला की याद में महफिल-ए-मिलाद, फातिमा और तिलावत का सिलसिला चलता है. तख्त-ओ-ताजिया भी निकाले जाते हैं.
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मरकजी दारुल इफ्ता के मुफ्ती अब्दुर्रहीम नश्तर फारूकी, जमात रजा-ए-मुस्तफा के उपाध्यक्ष सलमान हसन, राष्ट्रीय महासचिव फरमान हसन, मोईन खान ने नए साल की मुबारकबाद दी है.
ताजियेदारी पर बंदिश
मुहर्रम पर देश के तमाम हिस्सों में तख्त उठाए जाते हैं. अलम और ताजिये निकलते हैं. लेकिन संक्रमण की मौजूदा स्थिति के मद्देनजर कई जगहों पर सार्वजनिक कार्यक्रमों पर बंदिशें लागू हैं. मुहर्रम को लेकर यूपी पुलिस का आदेश काफी विवादों में भी रहा है. जिस पर शिया-सुन्नी दोनों की ओर से विरोध दर्ज कराया गया. (islamic new year 1443)
कर्बला की जंग में हजरत इमाम हुसैन की शहादत के मद्देनजर मुस्लिम समाज का एक बड़ा हिस्सा इसे गमी के तौर पर मनाता है. इसलिए तमाम लोग नए साल की मुबारकबाद या खुशियां मनाने से परहेज करते हैं.
इस्लामिक माह
1-मुहर्रम
2-सफर
3-रबी-उल-अव्वल
4-रबी अल-थानी
5-जमाद अल-अव्वल
6-जमाद अल-थानी
7-रजब
8-शआबान
9-रमजान
10-शव्वाल
11-जुअल-कादा
12-जिल्हिज्जा