द लीडर। जानलेवा कोरोना वायरस और ओमिक्रोन तेजी से फैल रहा है। वहीं लोग इससे डरे हुए है। कोरोना और ओमिक्रोन के बढ़ते मामलों को देखते हुए फिर से देश-दुनिया में पाबंदिया बढ़ने लगी है। और लोग एक बार फिर पाबंदियों में जकड़ जाएंगे। आज देश में कोरोना के एक लाख 42 हजार नए केस सामने आए है। इसके साथ ही ओमिक्रोन वैरिएंट 27 राज्यों में फैल चुका है। जहां अब तक 3071 लोग संक्रमित हो चुके हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया है कि, इस वेरिएंट से संक्रमित 1203 लोग ठीक हो चुके हैं। बड़ी बात यह है कि इस वेरिएंट से देश में अबतक दो मौतों की पुष्टि हो चुकी है।
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कोरोना से अब तक इतने लोगों की गई जान ?
देश में पिछले 24 घंटों में कोरोना वायरस के एक लाख 41 हजार 986 नए केस सामने आए हैं। वहीं, 285 लोगों की मौत हो गई. केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक, देश में अब एक्टिव मामलों की संख्या बढ़कर 4 लाख 72 हजार 169 हो गई है। वहीं, इस महामारी से जान गंवाने वालों की संख्या बढ़कर 4 लाख 83 हजार 463 हो गई है। आंकड़ों के मुताबिक, कल 40 हजार 485 लोग ठीक हुए, जिसके बाद अभी तक 3 करोड़ 44 लाख 12 हजार 740 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं।
India reports 1,41,986 fresh COVID cases, 40,895 recoveries, and 285 deaths in the last 24 hours
Daily positivity rate: 9.28%
Active cases: 4,72,169
Total recoveries: 3,44,12,740
Death toll: 4,83,463Total vaccination: 150.06 crore doses pic.twitter.com/ptYMOqdegy
— ANI (@ANI) January 8, 2022
देश में ओमिक्रोन वेरिएंट के ताजा हालात
कुल मामले- 3071
कुल रिकवरी- 1203
कुल राज्य- 27
मौत- 2
किस राज्य में कितने लोग संक्रमित
महाराष्ट्र- कुल मामले 876, रिकवरी 381
दिल्ली- कुल मामले 513, रिकवरी 57
कर्नाटक- कुल मामले 333, रिकवरी 26
राजस्थान– कुल मामले 291 रिकवरी 159
केरल– कुल मामले 204, रिकवरी 151
गुजरात– कुल मामले 2049, रिकवरी 112
तेलंगाना– कुल मामले 123, रिकवरी 47
तमिलनाडु– कुल मामले 121, रिकवरी 121
हरियाणा– कुल मामले 114, रिकवरी 83
उड़ीसा– कुल मामले 60, रिकवरी 5
उत्तर प्रदेश- कुल मामले 31, रिकवरी 6
आंध्र प्रदेश- कुल मामले 28, रिकवरी 6
पश्चिम बंगाल- कुल मामले 27, रिकवरी 10
गोवा- कुल मामले 19, रिकवरी 19
असम– कुल मामले 9, रिकवरी 9
मध्य प्रदेश- कुल मामले 9, रिकवरी 9
उत्तराखंड- कुल मामले 8, रिकवरी 5
आंध्र प्रदेश- कुल मामले 6, रिकवरी 1
मेघालय– कुल मामले 4, रिकवरी 3
अंडमान निकोबार- कुल मामले 3, रिकवरी 0
चंडीगढ़- कुल मामले 3, रिकवरी 3
जम्मू कश्मीर- कुल मामले 3, रिकवरी 3
पुद्दुचेरी- कुल मामले 2, रिकवरी 2
पंजाब- कुल मामले 2, रिकवरी 2
हिमाचल- कुल मामले 1, रिकवरी 1
लद्दाख- कुल मामले 1, रिकवरी 1
मणिपुर- कुल मामले 1, रिकवरी 1
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ओडिशा में 3,679 नए मामले
ओडिशा में कोविड-19 के 3,679 नए मामले पाए गए हैं, जो पिछले साल 18 जून से संक्रमण के सर्वाधिक दैनिक मामले हैं। इसी के साथ ओडिशा में संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 10.66 लाख हो गई है. स्वाथ्य विभाग ने शनिवार को बताया कि, राज्य में दैनिक संक्रमण दर 5.15 प्रतिशत है, जबकि यह एक दिन पहले 3.92 प्रतिशत थी। नए संक्रमितों में 384 बच्चे हैं।
ओमिक्रोन के कारण तेजी से बढ़ रहे कोरोना केस
जिस कदर दुनियाभर में कोरोना संक्रमण के मामलों में फिर से तेज़ी देखी जा रही है। इसकी सबसे बड़ी वजह ओमिक्रॉन वेरिएंट को बताया जा रहा है. ये वेरिएंट सबसे पहले दक्षिण अफ़्रीका में मिला. इस वेरिएंट की वजह से अमेरिका, फ्रांस और ब्रिटेन जैसे देशों में रिकॉर्ड संख्या में संक्रमण के मामले सामने आ रहे हैं. भारत में भी नए मामलों की संख्या तेज़ी से बढ़ रही है. और ये स्थिति तब है जब भारत समेत सारी दुनिया में ज़्यादा से ज़्यादा लोगों के टीकाकरण की कोशिश जारी है. बड़ी आबादी को टीके लग भी चुके हैं लेकिन फिलहाल ऐसे भी मामले आ रहे हैं, जहां टीका लगवा चुके लोगों को भी संक्रमण हो रहा है.
नुकसान को कम कर रही कोरना वैक्सीन
ब्राज़ीलियन सोसाइटी ऑफ इम्युनाइजेशन के डायरेक्टर डॉक्टर कफोरी ने कहा कि, वैक्सीन सामान्य लक्षण वाले, हल्के लक्षण वाले या बिना लक्षण वाले कोरोना के मामलों के मुकाबले गंभीर मामलों में ज्यादा सुरक्षा प्रदान करती है. इसका मतलब ये हुआ कि, टीकों का मुख्य लक्ष्य इंफेक्शन को रोकना नहीं बल्कि शरीर में कोरोना संक्रमण से हुए नुक़सान को कम करना है.
टीकाकरण के बाद भी नए मामलों में तेज़ी क्यों?
हाल में वैक्सीन लगवा चुके लोगों में संक्रमण के मामलों में तेज़ी देखी गई है. ऐसे में सवाल उठने लगा है कि, ऐसा क्यों हो रहा है और क्या वैक्सीन असर नहीं कर रही? मोटे तौर इसकी तीन वजह है जिससे इस स्थिति को समझा जा सकता है.
पहली वजह: हम खुद पर्व-त्योहारों में लोगों से मिलते-जुलते हैं। क्रिसमस और नए साल पर ख़ास तौर पर पश्चिमी देशों ने लोगों ने मिलकर जश्न मनाया. इससे कोरोना के प्रसार का ख़तरा बढ़ा. लोग संक्रमित होने लगे.
दूसरी वजह: दुनियाभर में कोरोना वैक्सीन को उपलब्ध हुए लगभग एक साल हो चुके हैं. जानकारों ने ये बात पहले भी कही है कि, वैक्सीन का असर हमेशा नहीं रहेगा. डॉक्टर कफोरी कहते हैं कि, हमने देखा है कि समय बीतने के साथ वैक्सीन से मिलने वाली सुरक्षा का स्तर कम होता जाता है. वैक्सीन से मिलने वाली सुरक्षा अलग-अलग उम्र वर्ग में अलग-अलग होगी. यह कम या ज्यादा हो सकती है. इसी वजह से पहले अधिक उम्र के लोगों या कम इम्युनिटी वाले लोगों और फिर पूरी आबादी को कोरोना वैक्सीन की तीसरे डोज़ की ज़रूरत महसूस हुई.
तीसरी वजह: ओमिक्रॉन वेरिएंट, जो पहले के वेरिएंट्स की तुलना में ज़्यादा संक्रामक है. ये वैक्सीन के असर को कम करता है, साथ ही इसमें कोरोना संक्रमित हो चुके लोगों को संक्रमण से मिली प्रतिरोधक क्षमता को मात देने की शक्ति है.
राहत की बात ये है कि, कोरोना के मामलों में हालिया तेज़ी के बाद भी वैक्सीन ले चुके लोगों में अस्पताल में भर्ती होने की दर के साथ-साथ मृत्यु दर भी बेहद कम है. हमें कोरोना को हल्के में न लेकर इससे बचाव के लिए सावधानियां बरतनी होंगी। और लोगों को भी टीकाकरण के लिए जागरूक करना होगा।
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