द लीडर हिंदी : एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने दिल्ली पुलिस की कार्य प्रणाली पर सवाल खड़े किए हैं.
उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा कि दिल्ली पुलिस ने उनकी पार्टी में दिल्ली के प्रदेश अध्यक्ष समेत 30 लोगों को शांतिपूर्वक प्रदर्शन करने पर गिरफ्तार कर लिया है.
जो नूपुर शर्मा और नवीन जिंदल की गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे. मगर दिल्ली पुलिस में नूपुर शर्मा और नवीन जिंदल को गिरफ्तार करने की हिम्मत नहीं है. (Owaisi on Delhi Police)
आपको बता दें कि भारतीय जनता पार्टी की प्रवक्ता रही नूपुर शर्मा ने एक टीवी डिबेट के दौरान पैंगबर-ए-इस्लाम के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी.
पार्टी के प्रवक्ता नवीन जिंदल ने नूपुर शर्मा का समर्थन करते हुए इसको दोहराया था. इसे लेकर देश ही नहीं, बल्कि पूरे दुनिया भर के मुस्लिम समुदाय में आक्रोश है.
सऊदी अरब, कुवैत, कतर, ईरान समेत करीब 15 देशों ने इस पर भारत के राजदूतों को समन देकर तलब भी किया.
इतना ही नहीं, कई मुस्लिमों देशों में इसे लेकर भारतीय उत्पादों का बहिष्कार तक किए जाने की खबरें सामने आईं.
इस पर भारतीय जनता पार्टी ने नूपुर शर्मा और नवीन जिंदल को पार्टी से निकाल दिया. (Owaisi on Delhi Police)
AIMIM दिल्ली अध्यक्ष @KaleemulHafeez समेत हमारे 30 कार्यकर्ताओं को दिल्ली पुलिस ने गुरुवार को गिरफ़्तार किया था। उनका गुनाह ये है कि वो नूपुर शर्मा और जिंदल की गिरफ़्तारी की माँग कर रहे थे। दिल्ली पुलिस में शर्मा और जिंदल को गिरफ़्तार करने की हिम्मत नहीं है। 1/2 pic.twitter.com/ArIQysMaWY
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) June 12, 2022
नूपुर शर्मा पर कई जगहों पर एफआईआर दर्ज हुई मगर अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो सकी है.
नूपुर शर्मा की गिरफ्तारी की मांग को लेकर एआईएमआईएम के दिल्ली अध्यक्ष कलीमुल हाफिज समेत अन्य कार्यकर्ताओं ने पिछले गुरुवार को प्रदर्शन किया था.
जिस पर दिल्ली पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे एआईएमआईएम के करीब 30 कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया था.
इस पर पार्टी चीफ ओवैसी ने दिल्ली पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े किए हैं. (Owaisi on Delhi Police)
क्या किया ट्वीट
उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा कि एआईएमआईएम के दिल्ली अध्यक्ष कलीमुल हाफिज समेत हमारे 30 कार्यकर्ताओं को दिल्ली पुलिस ने गुरुवार को गिरफ़्तार किया था.
उनका गुनाह ये है कि वो नूपुर शर्मा और जिंदल की गिरफ़्तारी की मांग कर रहे थे. दिल्ली पुलिस में शर्मा और जिंदल को गिरफ़्तार करने की हिम्मत नहीं है.
हमारे कार्यकर्ताओं को जल्द से जल्द रिहा करना चाहिए और जिंदल और शर्मा को गिरफ़्तार करना चाहिए.
शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन करना जुर्म नहीं है, लेकिन लोगों के धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाना ज़रूर जुर्म है। (Owaisi on Delhi Police)