द लीडर : जश्ने ईद मिलादुन्नबी 19 अक्टूबर को है. सुन्नी बरेलवी मुसलमानों के मरकज (Centre) यूपी के बरेली स्थित दरगाह आला हजरत के मरकजी दारुल इफ्ता से ऐलान हो गया है. जश्न, पैगंबर-ए-इस्लाम (Prophet Muhmmad) की यौमे पैदाइश (Birthday) का है, जो भारत ही नहीं बल्कि पूरे इस्लामिक जगत में शानो-शौकत के साथ मनाया जाता है. इसके इस्तकबाल में मस्जिद, खानकाह-दरगाह और शहरों को सजाने का रिवाज है, जिसका सिलसिला चल पड़ा है. (Eid Miladun Nabi 2021)
ईद-मिलादुन्नबी मुसलमानों के सबसे बड़े त्योहारों में से एक है. जिसमें पैगंबर-ए-इस्लाम की शिक्षाएं, दया, करुणा, न्याय, समानता और इबादत का पैगाम आम किया जाता है. इस दिन शहर से लेकर गांवों तक विशाल जुलूस निकलते हैं. ईद मिलादुन्नबी को रबीउल-अव्वल, ईद-ए-मिलाद भी कहा जाता है.
बरेली में दो दिन जुलूस निकलता है. इस बार 18 और 19 अक्टूबर को जुलूस-ए-मुहम्मदी निकलना है. 18 अक्टूबर को पुराना शहर और 19 अक्टूबर को कोहाड़ीपीर से. आम दिनों में जुलूस में करीब 400 से 500 अंजुमनें शामिल होती हैं.
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पुराना शहर से दरगाह तहसीनियां के सज्जादानशीन मौलाना हस्सान मियां की सरपरस्ती में अंजुमन इत्तेहादुल मुस्लिमीन की अगुवाई में जुलूस निकाला जाता है. जबकि कोहाड़ापीर के जुलूस की सरपरस्ती दरगाह आला हजरत के सज्जादानशीन मुफ्ती अहसन मियां की रहती है. इसकी अगुवाई अंजुमन खुद्दाम-ए-रसूल करता है. (Eid Miladun Nabi 2021)
अंजुमन इत्तेहादुल मुस्लिमीन की 12 अक्टूबर को तमाम अंजुमनों के पदाधिकारियों के साथ बैठक होगी. सचिव अंजुम शमीम के मुताबिक इसमें जुलूस को लेकर चर्चा की जाएगी.
जुलूस के लिए हर साल जिला प्रशासन से अनुमति लेनी होती है. अधिकारियों के साथ अंजुमन कमेटियों की मीटिंग होती. अंजुम शमीम ने बताया कि शासन-प्रशासन की जो भी गाइडलाइन होंगी. उसकी रौशनी में ही जुलूस पर फैसला होगा.
हाल ही में आला हजरत का उर्स हुआ है. 4 अक्टूबर को कुल के दिन शहामतगंज चौराहे पर पुलिस ने बैरयिर लगाकर भीड़ को रोक दिया था. इसको लेकर जायरीन और पुलिस में झड़प हो गई थी.
ये विवाद काफी बढ़ चुका है. जिला प्रशासन और दरगाह प्रबंधन आमने सामने है. इस कदर कि दरगाह आला हजरत के प्रमुख मौलाना सुब्हानी मियां ने अपनी गिरफ्तारी देने और सज्जादानशीन मुफ्ती अहसन मियां ने जेल भरने तक का ऐलान कर दिया. इस मामले में सुलह की कोशिशें चलीं. प्रशासन से आश्वासन मिला. तो दरगाह से विरोध 22 अक्टूबर तक के लिए टाल दिया गया है.
इसी दरम्यान ईद-मिलादुन्नबी है. और हालात के मद्देनजर प्रशासन से जुलूस की अनुमति मिलेगी. इस पर भी संशय बना है. बहराहल, बरेली के पुराना शहर में तैयारियां शुरू हो गई हैं. गलियों को सजाया जाने लगा है.
मरकजी दारुल इफ्ता के मुफ्ती नश्तर फारूकी ने दरगाह ताजुश्शरिया के सज्जादानशीन मुफ्ती असजद मियां के हवाले से ईद-मिलादुन्नबी की तारीख का ऐलान किया है. जमात रजा-ए-मुस्तफा के मीडिया प्रभारी समरान खान ने बताया कि गुजरात से चांद की गवाही मिली है. (Eid Miladun Nabi 2021)